UPPSC RO ARO Lattest News 2024: समीक्षा अधिकारी (RO) और सहायक समीक्षा अधिकारी (ARO) 2023 की प्रारंभिक परीक्षा 11 फरवरी 2024 को आयोजन करने का फैसला लिया गया है इसका आयोजन तो पहले से ही तय है RO और ARO की परीक्षा में बहुत ही ज्यादा रिकॉर्ड तोड़ आवेदन इस बार देखने को मिले हैं। इस बार 99 फ़ीसदी से अधिक अभ्यर्थी इस परीक्षा के शुरू में ही छट जाएंगे। सभी अभ्यर्थी इस प्री परीक्षा को तो देंगे लेकिन जब यह अभ्यर्थी मेंस का परीक्षा देंगे। फिर जो प्री का कट ऑफ जाएगा इसमें बहुत सारे अभ्यर्थी बाहर हो जाएंगे। इस RO ARO के एक पोस्ट के लिए 2603 अभ्यर्थी की दावेदारी है। 9 अक्टूबर 2023 को उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग ने RO ARO के भर्ती के लिए 411 पदों पर विज्ञापन जारी कर दिए थे।
UPPSC RO ARO की आवेदन की डेट भर्ती के लिए बढ़ाया गया था (UPPSC RO ARO Latest Recruitment News)
समीक्षा अधिकारी और सहायक समीक्षा अधिकारी ने उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की तरफ से भर्ती का जो विज्ञापन जारी हुआ था। जिसको उन्होंने एक बार आगे बढ़ाया था। आवेदन की तिथि 9 नवंबर पहले से तय था लेकिन उसे बाद में बढ़ाकर 24 नवंबर कर दिया गया। हर बार की तरह इस बार भी रिकॉर्ड तोड़ आवेदन हुआ। इस परीक्षा में 1069725 आवेदन किया गया। आयोग की किसी भी परीक्षा में इतनी बड़ी संख्या में आवेदन किए गए। जो कि जो की पहले की परीक्षाओं के मुकाबले में बहुत ही ज्यादा संख्या थी। RO और ARO की 411 पदों पर भर्ती होगी। उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग नियमों के अनुसार प्रारंभिक परीक्षा में 15 गुना अभ्यार्थी आने की संभावना है। इस हिसाब से इस परीक्षा में सिर्फ 6155 ही सफल हो पायेंगे। इसका मतलब है की 10 लाख 63560 अभ्यर्थी मुख्य परीक्षा से पहले ही बाहर हो जाएंगे। 99 फ़ीसदी से अधिक आवेदन करने वाले अभ्यर्थी मुख्य परीक्षा तक पहुंचने में असफल होंगे। आंकड़े साफ हैं इस बार यह प्रति स्पर्धा काफी कठिन होने वाली है
RO ARO की भर्ती के लिए क्या नियम बनाए गए है ( UPPSC RO ARO RECRUITMENT VACANCY 2024)
यूपीएससी के समीक्षा अधिकारी और सहायक समीक्षा अधिकारी भर्ती के एग्जाम के बारे में हम बात करें तो जो कि पहले से ही नियम है जो पद हैं उसमें मुख्य परीक्षा के लिए 15 गुना अभ्यर्थियों को बुलाया जाता है। और अगर नए पदों का अधियाचन मिलता है तो कुछ और पद को बढ़ाने की कोशिश करेंगे और अभ्यर्थियों को इससे बहुत राहत मिलेगा। पहले आयोग जो प्रारंभिक परीक्षा आयोजित करती थी उसमें 18 गुना सफल अभ्यर्थियों को घोषित किया जाता था। लेकिन मानक को बदलते हुए आयोग ने इसको 13 गुना कर दिया। लेकिन इसके लिए अभ्यर्थियों ने काफी विरोध प्रदर्शन किया जिसको बाद में आयोग ने 15 गुना कर दिया जो कि अभी भी यह माना के लागू है। अगर इस बार अभ्यर्थी इस परीक्षा में बाहर हो जाते हैं तो उनको कम से कम 1 साल इंतजार करना पड़ेगा अगली भर्ती के परीक्षा के लिए। और इसी भर्ती के इंतजार में अभ्यार्थी ओवरेज हो जाते है।